पृथ्वी पर नागों का अवतरण: एक पौराणिक यात्रा

भारतीय पौराणिक कथाओं में नागों का उल्लेख व्यापक रूप से किया गया है। नाग, जिनका अर्थ होता है सर्प, भारतीय संस्कृति, धर्म और इतिहास में गहराई से जुड़े हुए हैं। यह कथा न केवल उनके अवतरण की कहानी कहती है, बल्कि पृथ्वी, देवताओं और असुरों के साथ उनके संबंधों को भी उजागर करती है।

नागो का उल्लेख सबसे पहले वैदिक साहित्य और पुराणों में मिलता है। नागों को देवताओं और असुरों के समान एक दिव्य जाति माना गया है। नाग जाति को कश्यप ऋषि और उनकी पत्नी कद्रू की संतानों के रूप में जाना जाता है।

कश्यप ऋषि, जो प्राचीन ऋषियों में प्रमुख थे, ने कई पत्नियों से विभिन्न जातियों को उत्पन्न किया। कद्रू, जो कश्यप ऋषि की पत्नियों में से एक थीं, उन्होंने नागों को जन्म दिया। कद्रू ने भगवान ब्रह्मा से वरदान मांगा था कि उनके पुत्र शक्तिशाली और दिव्य हों। उसी वरदान के फलस्वरूप, उनके गर्भ से शेषनाग, वासुकी, तक्षक, कर्कोटक और अन्य प्रमुख नाग उत्पन्न हुए।

ऋषि कश्यप और कद्रू की कथा

ऋषि कश्यप प्रजापति माने जाते हैं, जिन्होंने संसार की अनेक जातियों और प्राणियों को जन्म दिया। उनकी 13 पत्नियों में से दो प्रमुख पत्नियां थीं:

1.कद्रू – नागों की माता।

2.विनता – गरुड़ और अरुण की माता।

कद्रू ने ऋषि कश्यप से अनेक पुत्रों की कामना की, और उनकी तपस्या के फलस्वरूप उन्हें हजारों नाग पुत्र प्राप्त हुए।

 

नागों की भूमिका और महत्व

भारतीय पौराणिक कथाओं में नागों का उल्लेख न केवल एक सर्प के रूप में, बल्कि देवता, संरक्षक और शक्ति के रूप में भी किया गया है। नागों को अक्सर जल और पृथ्वी का संरक्षक माना गया है।

 

1. शेषनाग

शेषनाग, जिन्हें अनंत भी कहा जाता है, भगवान विष्णु के आसन और शैय्या के रूप में जाने जाते हैं। ऐसा कहा जाता है कि शेषनाग ने पृथ्वी को अपने फन पर धारण किया हुआ है।

2. वासुकी

वासुकी नागराज का नाम समुद्र मंथन में अमृत निकालने के दौरान प्रमुख रूप से लिया जाता है। उन्हें रस्सी के रूप में इस्तेमाल किया गया था।

3. तक्षक

महाभारत में तक्षक नाग का उल्लेख मिलता है। तक्षक ने अर्जुन के पुत्र अभिमन्यु की हत्या का प्रतिशोध लेने के लिए परीक्षित को डसा था।

 

नागों का पृथ्वी पर अवतरण

नागों का पृथ्वी पर अवतरण एक विशिष्ट उद्देश्य से हुआ था। पुराणों के अनुसार, नागों की उत्पत्ति के पीछे देवताओं और असुरों के बीच संतुलन बनाए रखने का उद्देश्य था।

 

कद्रू और विनता का श्राप

कद्रू और उनकी बहन विनता के बीच एक विवाद ने नागों के भाग्य को प्रभावित किया। कद्रू ने अपनी संतानों को पृथ्वी पर शासन करने और सृष्टि की रक्षा करने का कार्य सौंपा। दूसरी ओर, विनता के पुत्र गरुड़, नागों के शत्रु बन गए। इस शत्रुता का कारण कद्रू और विनता के बीच एक श्राप था।

गरुड़ और नागो का युद्ध
गरुड़ और नाग

 

 

गरुड़ और नागों का संघर्ष

गरुड़ और नागों के बीच शत्रुता भारतीय पौराणिक कथाओं में एक प्रमुख घटना है। ऐसा माना जाता है कि नागों ने अमृत चुराने की योजना बनाई थी, लेकिन गरुड़ ने इसे विफल कर दिया। इस घटना ने नागों को पृथ्वी पर अधिक सतर्क और शक्तिशाली बना दिया।

 

नागों की पूजा और मान्यता

भारतीय संस्कृति में नागों की पूजा का प्रचलन बहुत पुराना है। नाग पंचमी का त्योहार नागों की महिमा को सम्मानित करने के लिए मनाया जाता है। नागों को धन, समृद्धि और जल के संरक्षक के रूप में पूजा जाता है।

 

नागों के मंदिर

भारत में कई प्रसिद्ध मंदिर नागों को समर्पित हैं। इन मंदिरों में नागों को पूजा जाता है और उन्हें दिव्य शक्ति का प्रतीक माना जाता है।

 

1. नागचंद्रेश्वर मंदिर, उज्जैन

यह मंदिर नागराज को समर्पित है और यहां उनकी मूर्ति को भगवान शिव के साथ देखा जाता है।

 

 

2. मनसा देवी मंदिर, हरिद्वार

मनसा देवी को नागों की देवी माना जाता है, और यह मंदिर उनकी महिमा का प्रतीक है।

 

नागों का सांस्कृतिक महत्व

भारतीय लोक कथाओं और कला में नागों का महत्वपूर्ण स्थान है। उन्हें अक्सर शक्तिशाली और रहस्यमयी रूप में चित्रित किया जाता है।

नाग केवल पौराणिक पात्र नहीं हैं, बल्कि वे प्रतीकात्मक अर्थ भी रखते हैं। नागों को ऊर्जा, जीवन, और अमरता का प्रतीक माना जाता है। योग और तांत्रिक साधना में भी नाग शक्ति का विशेष महत्व है। कुंडलिनी शक्ति को नाग के रूप में दर्शाया गया है, जो मानव शरीर में आध्यात्मिक ऊर्जा का प्रतीक है।

पृथ्वी पर नागों का अवतरण न केवल पौराणिक कथा है, बल्कि यह भारतीय संस्कृति और आध्यात्मिकता का अभिन्न हिस्सा है। नागों की कथा हमें प्रकृति, जीवन और संतुलन का महत्व सिखाती है। नागों का महत्व समय के साथ और भी अधिक प्रासंगिक हो गया है, क्योंकि वे शक्ति, ऊर्जा और संरक्षण का प्रतीक हैं।
यह कथा हमें यह भी याद दिलाती है कि सभी जीव अपने अस्तित्व और उद्देश्य के साथ जुड़े हुए हैं। नागों का पृथ्वी पर अवतरण केवल एक कहानी नहीं, बल्कि एक दार्शनिक दृष्टिकोण है, जो हमें सृष्टि के गहरे रहस्यों को समझने का अवसर देता है।

 

 

Please follow and like us:
Pin Share

Comments

No comments yet. Why don’t you start the discussion?

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *